वी.यू.एम.एम. जैन पब्लिक स्कूल में हुआ उन्मुखीकरण कार्यक्रम

0
35
करनाल (काम्बोज ) आदर्श शिक्षा संस्थान के रूप में स्थापित नैतिकता तथा सद्संस्कार निर्माण को समर्पित वरिष्ठ उपाध्याय मनोहर मुनि जैन पब्लिक स्कूल का वार्षिक उन्मुखीकरण समारोह प्रेरक भारत संत गौरव उपप्रवर्तक श्री पीयूष मुनि जी महाराज के पावन सानिध्य में  विद्यालय प्रांगण में सैकड़ों अभिभावकों तथा गणमान्य अतिथियों की उपस्थिति में मनाया गया।
       मुख्य अतिथि के रूप में  उद्योगपति  विनोद मित्तल  और अध्यक्षता समाजसेवी  सुशील जैन, हाईफ्लाइ निटवियर्ज, लुधियाना ने की। दीपप्रज्जवलन की रस्म वर्धमान टैक्सटाइल कॉरपोरेशन, जालंधर के श्री कुलभूषण जैन संपन्न की।
             सर्वप्रथम सरस्वती वंदना से कार्यक्रम का शुभारंभ हुआ। आई एम बार्बी गर्ल, जुबी-डुबी, लकड़ी की काठी आदि कार्यक्रमों में बाल कलाकारों ने धूम मचाई। विद्यार्थियों ने समूह नृत्य, एकल नृत्य, लघु नाटिका, एकांकी के माध्यम से पर्यावरण संरक्षण, महिला शिक्षा, पेड़-पौधों की साज-संभाल, देशभक्ति से संबंधित अनेक सांस्कृतिक प्रस्तुतियों से मन मोह लिया। पुलवामा हमले से जुड़ा कार्यक्रम सभी दर्शकों की संवेदनाएं जागृत कर आकर्षण के साथ प्रेरणा का केंद्र बना।  राजस्थानी नृत्य, हरियाणवी नृत्य, जंगल नृत्य, भंगड़ा तथा समुह शिक्षकवृंद के  मनमोहक नृत्य ने सभी को भावविभोर कर दिया।
           परम विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित पुलिस महानिदेशक तथा हरियाणा पुलिस आवास निगम के प्रबंध निदेशक डॉ. आर.सी. मिश्रा ने अपने प्रभावी संबोधन में इस कार्यक्रम को विद्यार्थियों तथा प्रबंधन के लिए आकलन के साथ-साथ उत्सव बताते हुए प्राचीन संस्कृति तथा संस्कार की पुनर्स्थापना एवं पुनर्महत्ता के लिए पुरजोर प्रयास किए जाने पर बल दिया। उन्होंने कहा कि सच्ची शिक्षा विद्यार्थियों का सर्वांगीण विकास सुनिश्चित कर मानसिक, बौद्धिक, शारीरिक अपेक्षाओं से सशक्त बनाने का कार्य करती है। उन्होंने अनेक संस्कृत श्लोकों का उदाहरण देते हुए रामायण से सर्वप्रथम माता-पिता, गुरुजनों को प्रणाम कर अपनी दिनचर्या का शुभारंभ करना अनिवार्य बतलाया जो सभी अपेक्षाओं से अरिष्ट निवारण कर मंगल सुनिश्चित करती है।
       भारत संत गौरव श्री पीयूष मुनि जी महाराज ने कहा कि वर्तमान में शिक्षा के दीप तो सर्वत्र जग रहे हैं परंतु अंधकार घटने के स्थान पर बढ़ता जा रहा है क्योंकि शिक्षा का नैतिकता तथा सद्संस्कार निर्माण से नाता टूटता जा रहा है। शिक्षा यदि मनुष्य को भगवान या महान न भी बना सके तो भी कम से कम सच्चा इंसान तो जरूर बनाए क्योंकि कुछ शब्द तथा थोड़े विषय जान लेने मात्र से सच्ची मानवता नहीं आती। जो सद्गुण व्यक्ति को चरित्र से समुन्नत बनाते हैं, उन्हें विकसित करने वाली ही सच्ची शिक्षा है।
           मुनि जी ने कहा कि इस तरक्की के जमाने में सभी कुछ हो रहा है, मगर क्या गजब है कि आदमी इंसान नहीं होता।  भारतीय संस्कृति विनय के आधार पर टिकी है, जो विद्यार्थियों के जीवन में जरूर होनी चाहिए। विनीत विद्यार्थी गुरुजनों के आशीर्वाद से हर क्षेत्र में सफल हो सकता है।
           सभी कक्षाओं के विभिन्न विधाओं में उल्लेखनीय प्रदर्शन करने वाले विद्यार्थियों को पुरस्कृत किया गया। प्रधानाध्यापिका श्रीमति तनुजा सचदेवा ने वार्षिक रिपोर्ट प्रस्तुत की।
            मुख्यमंत्री हरियाणा के मीडिया सलाहकार श्री तरुण भंडारी तथा पूर्व विधानसभा स्पीकर वरिष्ठ कांग्रेसी नेता  कुलदीप शर्मा आदि उपस्थित रहे।
           प्रबंधन ने सभी अतिथियों का बहुमान किया। प्रबंधिका शीतल जैन, निर्देशिका वीना गर्ग, उपाध्यक्ष सरोज जैन, कोषाध्यक्ष डा. मोहन लाल जैन, सदस्य रतन लाल जैन, सुशील जैन, अशोक जैन, विकास जैन, संदीप जैन, नवीन जैन, रमन जैन गोगी आदि ने कार्यक्रम को सर्वरूपेण सफल बनाया।